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Jul 22, 2020

गहलोत और पायलट का झगडा एक दिखावा, तीन पहलु - जरूर पढ़े

Rajasthan Congress internal politics, To divert public's view from black money (RGF) or Anything Else



Congress is trying to divert public's view from RGF onto Rajasthan's Crisis.
Congress is trying to divert public's view from RGF (Anti India Stand) onto Rajasthan's Crisis.

कांग्रेस के सचिन और गहलोत का झगडा आज का नहीं

१- Dec 2018 को राजस्थान विधानसभा चुनाव हुए थे जिसमे पिछले इलेक्शन के बार पायलट ने अपनी छमता से पार्टी को खड़ा किया और तब सचिन और गहलोत के बीच मे मुख्यमंत्री पद की झगडा हुआ था लेकिन हाईकमान सोनिया गाँधी ने गहलोत को मुख्यमंत्री बना दिया था ! सन 2013 मे राजस्थान का चुनाव गहलोत के अंदर मे लड़ा गया तब कांग्रेस की सीट सिर्फ 200 सीट मे  21 सीट आई थी लेकिन वहीँ पायलट के अंदर मे लड़ा सन 2018 मे 200 सीट मे  107 सीट आई ! इसलिए सची पायलट का दावा ठोकना जायज था ! 

२- सन May 2019 को लोकसभा चुनावो मे पायलट खेमे ने गहलोत खेमे पर आरोप लगाया की गहलोत ने अपने बेटे ‘वैभव गहलोत’ को जिताने के लिए सारा ध्यान जोधपुर की सीट पर लगाया ! पार्टी का पूरा ध्यान जोधपुर की तरफ कर दिया गया और कहीं प्रचार नहीं किया !

३- फिर आज के समय मुख्यमंत्री के पुलिस अधिकारी द्वारा उपमुख्यमंत्री को नोटिस भेजना जो उपमुख्यमंत्री सचिन को सही नहीं लगा और विरोध कर दिया ! साथ मे छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री से लेकर कश्मीर के नेता ओमर अब्दुल्ला एक दूसरे के ऊपर जवाबी कर रहे ! जबकि बीजेपी से कोई लेना देना नहीं खुद सचिन पायलट ने मीडिया से बोल चुके बीजेपी मे नहीं जाऊंगा ! 



Rajasthan Election Result Under Gehlot And Sachin 2013 & 2018,
Rajasthan Election Result Under Gehlot And Sachin 2013 & 2018,

पीछे की क्या कहानी या खेल हो सकती है

इसके पीछे राजनीतिक गल्रियारो मे बहश छिड़ी हुई है जबकि कोरोना काल मे अगर सचिन पायलट का कोई विरोध था भी तो कोरोना खत्म होने के बाद किया जा सकता था लेकिन अभी क्यों ना गहलोत को उपमुख्यमंत्री के खिलाफ कोरोना महामारी खत्म हो जाती तो किया जा सकता था ! लेकिन इनकी लड़ाई अभी क्यों ऊपर से सचिन ने बीजेपी मे जाने से मना कर दिया है ! इसका क्या मतलब समझा जाये ! इसके तीन तीन मे से एक खेल हो सकता है ! 
१- राहुल खेमा Vs प्रियंका खेमा !
२- युवा नेता Vs वृद्ध नेता !
३- घोटाले पर इडी काम कर रही थी उससे दिमाग हटाने के लिए !


Rahul Gandhi Vs Priyanka Gandhi Fake Propaganda
Rahul Gandhi Vs Priyanka Gandhi Fake Propaganda

१- राहुल खेमा Vs प्रियंका खेमा (पारिवारिक लड़ाई)

इस खेल पर शक इसलिए भी जाता है क्यों सचिन पायलट ने शीर्ष नेतृत्व (हाईकमान मतलब सोनिया गाँधी) से ना बात करके सीधे प्रियंका गाँधी के संपर्क मे है ! गहलोत और बघेल राहुल गाँधी का गुट हो सकते है ! बघेल ने हाली मे नया फ्रंट की तरफ घुमाने के लिए ओमर अब्दुल्ला को टारगेट करते हुए बोला की सारा किस्सा सचिन के बहनोई से जोड़कर देखा जाना चाहिए ! इसपर ओमर अब्दुल्ला ने भी हमला किया लेकिन क्या प्रियंका एक नया गुट बनाने रही इन सबको लेकर ! 
कांग्रेस की सोनिया गाँधी के लिए किसी का भी राजनीती खत्म किया जा सकता ! सोनिया गाँधी बहुत सालो से राहुल गाँधी को गद्दी सँभालने दे रही और उसके राय पर हामी भर रही ! परिवार मे पहले भी अंदरूनी लड़ाई रही है
विजयलक्ष्मी नेहरु
(बहन) Vs जवाहरलाल नेहरु
संजय गाँधी (भाई) Vs राजीव गाँधी
कहीं अब प्रियंका गाँधी (बहन) Vs राहुल गाँधी तो नहीं !



Congress Old Age Vs Youth Fight, A Real Or Propaganda
Congress Old Age Vs Youth Fight, A Real Or Propaganda

२- युवा नेता Vs वृद्ध खेमा

अशोक गहलोत (69), भूपेश भगेल (58), दिग्विजय सिंह (73), कमलनाथ (73) ने अपने अपने राज्यों से युवा नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया (49), सचिन पायलट (42) को रस्ते से हटा दिया ! और भी युवा नेता जैसे मिलिंद देओरा, जितिन प्रसाद जैसे नेताओ को हासिये डालना ! कांग्रेस मे आज से नहीं आजादी से युवा और तेजतर्रार नेताओ की राजनीती खत्म करना ! नेहरु के समय ‘सरदार पटेल’ और ‘भीमराव आंबेडकर’ जैसे विद्द्वान लोगो की राजनीती खत्म करना ! इंदिरा गाँधी ने अपने विरोधी नेताओ की राजनीती खत्म की ! राजीव गाँधी के मरने के बाद कांग्रेस (कमान सोनिया गाँधी) ने ताकतवर नेता ‘माधवराव सिंधिया’, ‘राजेश पायलट’, ‘जीतेन्द्र सिंह’ की राजनीती खत्म (जो सोनिया गाँधी के समर्थन मे थे जैसे अहमद पटेल वो आज भी है ) ! 


Is Real Fight With ED to Target Modi Image
Is Real Fight With ED to Target Modi Image

३- घोटाले से जनता का दिमाग हटाना

देश मे कांग्रेस की सरकार बहुत कम जगह बची है जैसे राजस्थान, छत्तीसगढ़, पंजाब, महाराष्ट्र  और पांडेचेरी ! पार्टी को चलाने के लिए पैसे की जरुरत कहीं से पूरी करनी होती ! जिसमे पंजाब के मुख्यमंत्री की बात अलग है वो किसी की चलने नहीं देते उन्हों मे पंजाब मे आपकी ताकत बड़ा ली है और कांग्रेस कुछ कर नहीं सकती ! अब बची मुख्य तीन सरकारे राजस्थान, छत्तीसगढ़ और महाराष्ट्र ! हाली मे अपने देखा होगा कांग्रेस कई बार चीन से गुप्त मीटिंग की थी ! देश मे केंद्र सरकार ने एक ऐसा जाल बिछाया है जो गलत पैसा इतनी आसानी से रख नहीं सकता अब ! 
१- घर मे दो लाख से ज्यादा पैसा मतलब पूरा जब्त !
२- जीसटी से कारोबारी मे ऊपर लेवल पर चोरी रुकना !
३- सन २०१८ मे इडी को ताकत (जाँच के दायरा) को और बढाया जिसकी वजह से पी चितंबरम भी जेल जा चुके जिसको कोर्ट ने बेल दी हुई है !
४- घरों मे जमा पैसा (५०० रु और १००० रु के नोट) जो कांग्रेस के लोगो के पास जमा थे ! नोटबंदी से अब वो भी बेकार हो गए थे

दिनांक 01 Jun 2020 के बाद से इडी और आयकर विभाग लगातार राजस्थान, मुंबई, नोइडा, दिल्ली जैसी जगहों पर कांग्रेस के काले कारनामे, दिल्ली दंगे, और अन्य के केस मे छापे मार रही ! जबकि दिनांक 12 Jul 2020 को गहलोत और सचिन मे झगडा चालू हुआ ! गहलोत और कांग्रेस तो बीजेपी पर ऊँगली उठा रहे की मोदी गहलोत सरकार गिराने के लिए इडी के छापे मरवा रहे ! यहाँ पांच सवाल उठते है 

सवाल १- या तो इडी और आयकर विभाग भगवान बन गई जो १.५ महीने से छापे मार रही ?
सवाल २- या तो कांग्रेस की पूरी टीम घोटाले को बचाने मे नहीं ये तांडव मचाये हुए है ?
सवाल ३- या जब छापे १.५ महीने पहले से पढ़ रहे तो राजस्थान की लड़ाई मे केन्द्र सरकार कहाँ से आ गई ?
सवाल ४- या राहुल की चीन के साथ मीटिंग पैसे के लिए थी क्या ?
सवाल ५- या हाली मे कांग्रेस के ऊपर फाउंडेशन मे चीन का पैसा से लेकर एंटी इंडिया गुट का पैसा सामने आने के बाद उसको दबाने के लिए ये सब नाटक किया जा रहा क्या ?


 नोट : 
१- कांग्रेस कह रही अब्दुल्ला को बीजेपी ने छोड़ा जबकि कश्मीर मे कांग्रेस के साथ सत्ता का सूख उठा रहे थे !
२- एक तरफ कांग्रेस गहलोत बीजेपी पर किस्सा फोड रही दूसरी तरफ कांग्रेस बाघेल ओमर अब्दुल्ला पर ! खुद बताये कौन सही कौन गलत ?


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